द लास्ट लेसन (The last lesson) शॉर्ट स्टोरी क्या है?
द लास्ट लेसन जो कि है कक्षा बारहवीं का लेसन जिसे लिखा है Alphonse Daudet ने। और इस लिखा गया है सन 1870 ईस्वी में जब बिस्मार्क के तहत Prussian सेना ने फ्रांस पर हमला कर कब्जा कर लिया था। अल्सेस और लॉरेन फ्रांसीसी जिले Prussian के हाथों में चले गए Prussia के शासकों ने इन दोनों जिलों के स्कूलों में फ्रांस पर आना बंद कर दिया फ्रांसीसी शिक्षकों को स्कूल छोड़ने के लिए कहा गया था अब एम हेमल अपने पुराने स्कूल में नहीं रह सकते थे।
मिस्टर हेमल का आखरी पाठ क्या था?
फिर भी उन्होंने अपने विद्यार्थियों को हमेशा के लिए एक सीख दी जिसमें उन्होंने अत्यंत निष्ठा और ईमानदारी का लास्ट पाठ पढ़ाया उस दिन एम हेमल का एक छात्र जिसका नाम फ्रांज था। डरते डरते स्कूल आया उसे डर था की उसे लोहे की छड़ से दंडित किया जाएगा या पीटा जाएगा क्योंकि उसने पार्टी पार्टिसिपल्स पर दिया हुआ पाठ तैयार नहीं किया था।
फ्रांस जब स्कूल पहुंचा तो उसने क्या महसूस किया?
फ्रांस जब वह स्कूल पहुंचा तो उसने देखा कि मिस्टर हेमल ने अपने शानदार कपड़े पहन रखे हैं और गांव के बड़े-बड़े लोग सब क्लास में पीछे की बेंच पर बैठे हुए हैं वह बर्लिन के एक आदेश के कारण था।वह पहला दिन था जब उसने पहली बार महसूस किया कि फ्रेंच सीखना भी बेहद जरूरी है और उसके लिए यह सीखना कितना महत्वपूर्ण है लेकिन यह फ्रेंच में उसका आखरी पाठ था।
इस कहानी से क्या शिक्षा मिलती है?
कहानी में उसी स्थिति के बारे में बताया गया है कि जब लोग अपनी भाषा नहीं सीख पाते हैं तो लोग कैसा महसूस करते हैं यह हमें बताता है कि जातीय वंश के अस्तित्व में एवं सुरक्षा के लिए भाषा कितनी महत्वपूर्ण है।